सीएनएन सेंट्रल न्यूज़ एंड नेटवर्कआईटीडीसी इंडिया ईप्रेस / आईटीडीसी न्यूज़ भोपाल: खुले बोरवेल में बच्चों के गिरने की बढ़ती घटनाओं के बाद प्रदेश सरकार ने एहतियाती कदम उठाए हैं। बोरवेल के लिए नया एप जारी किया है। बोरवेल के खनन के लिए एजेंसी या ठेकेदार का चयन एप के माध्यम से होगा। रजिस्टर्ड निजी एजेंसियों में से ही एजेंसी चुननी होगी। जमीन मालिक-एजेंसी को खनन के सफल होने की सूचना विभाग को देनी होगी। यदि बोरवेल बंद होता है तो इसे 50 सेमी x 50 सेमी x 60 सेमी के सीमेंट-कंक्रीट ब्लॉक से ढंकना होगा। फोटो भी अपलोड करना होगा। खुले बोरवेल दिखने पर आम नागरिक एप या सीएम हेल्पलाइन से शिकायत कर सकेगा।

हाल ही में रीवा में खुले बोरवेल में गिरे 6 साल के बच्चे की मौत के बाद मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने इन घटनाओं पर सख्त रुख दिखाया था। मप्र राज्य इलेक्ट्रॉनिक्स विकास निगम की सहायता से इस मोबाइल एप को विकसित किया गया है। दुर्घटना रोकने की तैयारी खुले बोरवेल से होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए मोबाइल एप विकसित हुआ है। इसका ट्रायल करके बुधवार को इसे शुरू कर दिया गया। जल्द इसका व्यापक प्रचार प्रसार किया जायेगा।