सीएनएन सेंट्रल न्यूज़ एंड नेटवर्क–आईटीडीसी इंडिया ईप्रेस /आईटीडीसी न्यूज़ भोपाल: वक्फ बिल में संशोधन के लिए जॉइंट पार्लियामेंट्री कमेटी (जेपीसी) की चौथी बैठक आज (19 सितंबर) को संसद के लाइब्रेरी बिल्डिंग में आयोजित की गई। बैठक सुबह 11 बजे शुरू हुई, जबकि पिछले 28 दिनों में जेपीसी की तीन बैठकें हो चुकी हैं, जिनमें काफी हंगामा देखने को मिला था।

संसदीय कार्य और अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजिजू ने 8 अगस्त को लोकसभा में वक्फ बिल 2024 पेश किया था। विपक्षी दलों, विशेषकर कांग्रेस और समाजवादी पार्टी, ने इस बिल को मुस्लिम विरोधी बताते हुए इसका विरोध किया। इसके चलते यह बिल बिना किसी चर्चा के जेपीसी को भेजा गया था।

जेपीसी में लोकसभा से 21 और राज्यसभा से 10 सदस्य शामिल हैं, जिसमें भाजपा, कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस (TMC), और अन्य दलों के सांसद शामिल हैं। बैठक में जगदंबिका पाल और असदुद्दीन ओवैसी भी मौजूद रहे।

पिछली तीन बैठकों की स्थिति

  • 5 सितंबर: तीसरी बैठक में मंत्रालय के अधिकारियों ने वक्फ बिल पर प्रेजेंटेशन दिया, लेकिन विपक्षी सांसदों ने अधिकारियों पर जानकारी छिपाने का आरोप लगाया।
  • 30 अगस्त: दूसरी बैठक में विपक्षी सांसदों ने विरोध स्वरूप वॉक आउट किया। मुस्लिम संगठनों ने बिल के प्रावधानों पर चिंता जताई।
  • 22 अगस्त: पहली बैठक में सभी हिस्सेदारों को सुनने का वादा किया गया था, जिसमें मुस्लिम जानकारों से भी राय ली गई।

विपक्ष का मानना है कि यह बिल मुसलमानों की धार्मिक आस्था में हस्तक्षेप करता है, और वे इसकी असलियत को लेकर गंभीर चिंतित हैं। बैठक में TMC सांसदों ने फिर से अपना विरोध जताया, जिससे चर्चा और भी गर्मा गई।

जेपीसी की चौथी बैठक का परिणाम इस बात पर निर्भर करेगा कि क्या सरकार विपक्ष के सभी सवालों और चिंताओं का समाधान कर पाती है या नहीं।