सीएनएन सेंट्रल न्यूज़ एंड नेटवर्क–आईटीडीसी इंडिया ईप्रेस /आईटीडीसी न्यूज़ भोपाल : राष्ट्रीय डिज़ाइन संस्थान, मध्य प्रदेश में चल रहा डिज़ाइन शिविर 3.0 अब अपने उत्साहपूर्ण मध्य चरण में पहुँच चुका है।
इस पांच दिवसीय शिविर के तीन दिन पूरे हो चुके हैं, जिनमें छात्रों ने विविध डिज़ाइन कार्यशालाओं और सांस्कृतिक गतिविधियों में भाग लेकर अपने रचनात्मक क्षितिज को और विस्तृत किया है। यह आयोजन विद्यार्थियों को पारंपरिक एवं समकालीन डिज़ाइन की विधाओं के माध्यम से सीखने, बनाने और जुड़ने का अवसर प्रदान कर रहा है।


शिविर की शुरुआत बुनाई कार्यशाला से हुई, जिसे सुश्री श्रुति निगम और श्री संदीप जायसवाल द्वारा संचालित किया गया। इस सत्र में छात्रों ने हाथ से बुनाई की तकनीकें, करघे का उपयोग, और पारंपरिक शिल्प की समकालीन व्याख्या के विषय में अनुभव प्राप्त किया। प्रिंट डिज़ाइन कार्यशाला में डॉ. स्वाति व्यास, अदिति शर्मा, और पिंटू प्रताप सिंह के मार्गदर्शन में विद्यार्थियों ने ब्लॉक प्रिंटिंग के माध्यम से अपने विचारों को कपड़े की सतह पर उतारा। उन्होंने डिज़ाइन की बारीकियों के साथ-साथ प्रिंट की प्रक्रिया को व्यावहारिक रूप से समझा।
इसी क्रम में, गेम डिज़ाइन कार्यशाला ने रचनात्मकता और रणनीतिक सोच को नया आयाम दिया। मयंक शर्मा और वैभव पाठक ने इस कार्यशाला में गेम की अवधारणा, संरचना, और इंटरैक्टिविटी को समझाया। विद्यार्थियों ने टीमवर्क के साथ गेम के प्रोटोटाइप तैयार किए और डिज़ाइन थिंकिंग के अभ्यास में भाग लिया। साथ ही, मिट्टी से जुड़ने का अवसर मिला क्ले कार्यशाला में, जहाँ प्रमोद मार्शल, सेतु शर्मा और शैलेन्द्र ओझा ने विद्यार्थियों को स्कल्पचर और फॉर्म डेवलपमेंट की प्रक्रिया से परिचित कराया। यह अनुभव न केवल तकनीकी था, बल्कि ध्यान और संवेदना से भी जुड़ा हुआ था। तीसरे दिन की सांस्कृतिक संध्या ने इस रचनात्मक यात्रा को और जीवंत बना दिया। मंच पर प्रस्तुत हुई कविताएँ, नृत्य और संगीत ने दर्शकों को भावविभोर कर दिया। प्रतिभागियों द्वारा तैयार की गई प्रस्तुतियों ने न केवल उनकी कला का प्रदर्शन किया, बल्कि उनकी भावनाओं और अनुभवों को भी सुंदरता से अभिव्यक्त किया। इस संध्या का समापन एक ऊर्जावान संगीत बैंड की प्रस्तुति से हुआ, जिसने पूरे माहौल को उत्साह और तालियों से भर दिया।
अब शिविर के दो दिन शेष हैं, जिनमें छात्र अपने सीखे हुए कौशल को अंतिम रूप देंगे, प्रोजेक्ट्स प्रस्तुत करेंगे और सहयोगात्मक अभिव्यक्ति की प्रक्रिया को पूर्ण करेंगे। डिज़ाइन शिविर 3.0 न केवल एक शैक्षणिक मंच है, बल्कि यह आयोजन भविष्य के डिज़ाइनरों के लिए प्रेरणा और मार्गदर्शन का स्रोत बन रहा है। छात्रों के लिए एक ऐसा अनुभव है, जहाँ वे परंपरा, नवाचार और सांस्कृतिक आत्मीयता से एक साथ जुड़ते हैं। यह आयोजन भविष्य के डिज़ाइनरों के लिए प्रेरणा और मार्गदर्शन का स्रोत बन रहा है।

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