सीएनएन सेंट्रल न्यूज़ एंड नेटवर्कइंटीग्रेटेड ट्रेड..न्यूज़ भोपाल: 23 साल बाद बिहार में शुरू हुए रणजी ट्रॉफी मैच से पहले ही विवाद खड़ा हो गया। शुक्रवार को पटना के मोइन-उल हक स्टेडियम में बिहार की 2 अलग-अलग टीमें मैदान पर आ गईं। एक टीम बिहार क्रिकेट एसोसिएशन (BCA) के अध्यक्ष और दूसरी सचिव ने चुनी थी।

पुलिस ने सचिव की टीम को स्टेडियम के बाहर से लौटाया तो अज्ञात लोगों ने स्पेशल ड्यूटी ऑफिसर (OSD) मनोज कुमार पर जानलेवा हमला हुआ। उन पर पत्थरबाजी की भी गई।

पुलिस ने सचिव की टीम को स्टेडियम के बाहर से लौटाया

मुकाबला पटना के मोइन-उल हक स्टेडियम में शुक्रवार सुबह 9:30 बजे शुरू होना था। 2 टीमें आने के बाद हंगामा मच गया। लोकल पुलिस ने मामला समझा और दोनों टीमों को ग्राउंड के अंदर घुसने से रोक दिया। पुलिस ने फिर सचिव की टीम को उन्हीं की बस में बैठाकर स्टेडियम के बाहर से वापस भेज दिया। आखिर में अध्यक्ष की टीम मैदान में उतरी और मैच डेढ़ घंटे की देरी से 11 बजे शुरू हो सका।

OSD गंभीर रूप से घायल हुए

पुलिस ने सचिव की टीम को स्टेडियम के बाहर से लौटा दिया। इसके कुछ देर के बाद अज्ञात लोगों ने BCA के OSD मनोज कुमार पर जानलेवा हमला कर दिया। उनके साथ मारपीट भी की गई। जिससे वे गंभीर रूप से घायल हो गए। अध्यक्ष ने कहा कि दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

बिहार में 23 साल बाद रणजी मैच शुरू हुआ

बिहार और झारखंड के विभाजन के 23 साल बाद पटना में रणजी ट्रॉफी मैच शुरू हुआ। बिहार का सामना 41 बार की रणजी चैंपियन मुंबई से हो रहा है। बिहार ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी चुनी। पहले दिन का खेल खत्म होने तक मुंबई ने 9 विकेट पर 235 रन बना लिए। मैच सोमवार 8 जनवरी तक चलेगा।

अध्यक्ष पक्ष ने कहा- सचिव सस्पेंड हो चुके हैं

बिहार की 2 रणजी टीमों को लेकर दैनिक भास्कर ने BCA के अध्यक्ष राकेश कुमार तिवारी से बात करने की कोशिश की लेकिन उन्होंने कॉल रीसिव नहीं किया। हालांकि अध्यक्ष की ओर से बीसीए के प्रवक्ता संजीव कुमार मिश्रा ने कहा, ‘अमित कुमार BCA के सचिव थे, उन्हें एसोसिएशन के ओम्बड्समैन कोर्ट ने सस्पेंड कर दिया है। अब उनका BCA से कोई लेना देना नहीं है।

सचिव जबरदस्ती बिहार अलग टीम बना रहे हैं। उनकी बनाई टीम को रणजी ट्रॉफी मैच खेलने का अधिकार नहीं है। BCCI भी राकेश कुमार तिवारी को ही BCA का अध्यक्ष मानती है। इसलिए उनके नेतृत्व में बनी टीम ही मुकाबला खेल रही है।’

सचिव ने BCA पर भ्रष्ट्राचार के आरोप लगाए

सचिव अमित कुमार ने कहा, ‘टीम की लिस्ट सचिव की ओर से ही ऑथेंटिक होती है। हम लोग शुरू से इसकी लड़ाई लड़ रहे हैं। इसमें कहीं न कहीं BCCI भी दोषी है। BCA में बहुत भ्रष्टाचार है।

बिहार के क्रिकेट खिलाड़ियों ने मुझसे पूछा था कि सचिव बनने के बाद उनके लिए क्या किया? तब मैंने कहा था कि समय के साथ मैं अपनी पावर का इस्तेमाल जरूर करूंगा और मैंने अब वही किया।

मैच रेफरी के पास मेरी बनाई टीम के मैनेजर और कैप्टन गए थे। रेफरी ने हमारी टीम की लिस्ट को रिसीव भी किया। इसीलिए मेरी टीम स्टेडियम पहुंची और कायदे से उन्हें ही खेलने का हक मिलना चाहिए।’

‘अध्यक्ष कभी टीम सिलेक्ट नहीं करता’

अमित ने मैच शुरू होने के बाद कहा, ‘पहली चीज तो ये कि मैं इलेक्शन जीत कर BCA का सचिव बना था। आप सेक्रेटरी को ऐसे ही सस्पेंड नहीं कर सकते। और दूसरी बात ये कि अध्यक्ष टीम कैसे चुन सकता है। क्या आपने कभी BCCI अध्यक्ष रोजर बिन्नी को स्क्वॉड अनाउंस करते देखा है। वहां भी सचिव जय शाह के सिग्नेचर से ही टीम अनाउंस की जाती है।’