सीएनएन सेंट्रल न्यूज़ एंड नेटवर्कआईटीडीसी इंडिया ईप्रेस /आईटीडीसी न्यूज़ भोपाल: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पोलैंड के दौरे पर हैं। इसके बाद वे गुरुवार रात यूक्रेन के लिए रवाना होंगे। वे यह सफर प्लेन से नहीं बल्कि ट्रेन के जरिए तय करेंगे। यह एक विशेष ट्रेन होगी, जिसका नाम ‘रेल फोर्स वन’ है। इसे लग्जरी सुविधाओं और वर्ल्ड क्लास सर्विस के लिए जाना जाता है।

PM मोदी 10 घंटे इस ट्रेन में रहकर कीव पहुंचेंगे। उन्हें वापस लौटने में भी इतना ही समय लगेगा। दरअसल, यूक्रेन में चल रही जंग की वजह से एयरपोर्ट्स बंद हैं, सड़क से सफर जोखिम भरा हो सकता है। यही वजह है कि दुनिया के बड़े नेता जब भी यूक्रेन जाते हैं तो वे ट्रेन यात्रा को ही तरजीह देते हैं।

रेल फोर्स वन में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन से लेकर, फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रों, इटली PM जॉर्जिया मेलोनी समेत कई नेता यात्रा कर चुके हैं।

तस्वीर यूक्रेन की रेल फोर्स वन ट्रेन की है। मोदी यूक्रेन यात्रा के दौरान 20 घंटे इस ट्रेन में सफर करेंगे।

अमेरिका के राष्ट्रपति 20 फरवरी 2023 को रेल फोर्स वन के जरिए यूक्रेन गए थे।

अपनी यात्रा के दौरान रेल फोर्स वन के कंपार्टमेंट में कॉन्फ3ेंस टेबल पर काम करते राष्ट्रपति बाइडेन।

24 फरवरी 2024 को यूक्रेन युद्ध के 2 साल पूरे होने पर मेलोनी भी इसी ट्रेन के जरिए कीव पहुंची थीं।

फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, इटली के तत्कालीन प्रधानमंत्री मारियो ड्रैगी, और जर्मन चांसलर ओलफ शोल्ज जून 2022 में एक साथ कीव पहुंचे थे।

टूरिज्म के लिए बनी ट्रेन, अब वर्ल्ड लीडर्स करते हैं इस्तेमाल

यूक्रेन जाने वाले ज्यादातर नेता, पत्रकार, राजनयिक रेल फोर्स वन से ही सफर करते हैं। ये धीमी चलने वाली लग्जरी ट्रेन है, जो सिर्फ रात में चलती है। ये पोलैंड से 600 किमी का सफर तय कर कीव पहुंचती है।

यूक्रेन का रेल नेटवर्क 24 हजार किमी से भी ज्यादा लंबा है। ये दुनिया में 12वां सबसे बड़ा रेल नेटवर्क है। यूक्रेन में अलग-अलग ट्रेनें चलती हैं मगर रेल फोर्स वन सबसे खास है। इसे क्रीमिया में टूरिज्म के लिए डिजाइन किया गया था।

रूस ने 2014 में क्रीमिया पर कब्जा कर लिया था। इसके बाद से इसका इस्तेमाल वर्ल्ड लीडर्स और VIP मेहमानों को लाने-ले जाने के लिए किया जाता है। यह ट्रेन हथियारों से लैस है। इसमें बेहद सुरक्षित कम्युनिकेशन सिस्टम हैं। पूरे समय हाई-टेक सुरक्षाकर्मियों की टीम रहती है, जो लगातार सिक्योरिटी मॉनिटर करती है। यही वजह है कि अभी तक इस ट्रेन की सिक्योरिटी को लेकर कभी शिकायत नहीं मिली है।