भोपाल । मध्य प्रेदश कांग्रेस कार्यालय में गुरुवार को डिजिटिल मेंबरशिप अभियान को लेकर बैठक आयोजित की गई है। बैठक में पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष कमलनाथ ने जिला अध्यक्षों को चेतावनी दी कि 25 फरवरी तक मंडलम सेक्टर में नियुक्तियां करें, वरना 26 को इस्तीफा दे दें।
प्रदेश कांग्रेस डिजिटिल मेंबरशिप को लेकर जोर दे रही है। बैठक में कमलनाथ ने कहा कि सबसे ज्यादा सदस्यता करने वाले जिला अध्यक्षों को प्रदेश कांग्रेस कमेटी सम्मानित करेंगी। सबसे ज्यादा सदस्य बनाने वाले जिला अध्यक्षों को पीसीसी फस्र्ट, सेकंड, थर्ड तीन पुरस्कार देगा। डिजिटिल मेंबरशिप से फर्जी मेंबरशिप खत्म होगी। पहले सदस्य बना दिए जाते थे। इस प्रणाली से दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा।
पहले हर राज्य में फर्जी सदस्य जोड़े जाते थे। कमलनाथ के सामने जिला अध्यक्षों ने भी अपनी बात रखी। उन्होंने बताया कि मंडलम और सेक्टर के पदाधिकारी काम नहीं कर रहे हैं। इस पर कमलनाथ ने जिला अध्यक्षों को सिर्फ सदस्यता अभियान पर फोकस रखने की नसीहत दी। उन्होंने कहा कि ऑफलाइन और डिजिटल अभियान साथ-साथ चलेंगे।
बैठक से दिग्विजय-अरुण यादव की दूरी
पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष अरुण यादव बैठक में शामिल नहीं हुए। बैठक में इनके नाम की कुर्सी भी लगाई गई थी। दोनों नेताओं की बैठक से दूरी पर भाजपा ने कांग्रेस में गुटबाजी को लेकर सवाल उठाए। कांग्रेस विधायक सज्जन सिंह ने दिग्विजय सिंह और अरुण यादव के न आने पर कहा कि दोनों ने दिल्ली में पहले ही बैठक पर अपनी बात कह दी है। बैठक में न आने का मतलब कुछ और नहीं निकाला जाना चाहिए।
भाजपा ने कहा- नकल करने में अकल चाहिए
कांग्रेस के डिजिटिल सदस्यता अभियान पर भाजपा ने तंज कसा है। चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने कहा कि अमित शाह के नेतृत्व में जब बीजेपी ने डिजिटल सदस्यता अभियान शुरू किया था। तब यही कांग्रेस हमारा मखौल उड़ाती थी। प्रश्नचिन्ह लगाती थी। अभी हमने बूथ विस्तारक अभियान में सभी बूथों को डिजिटाइज किया है। कांग्रेस हमारी नकल कर रही है। हम तो पहले से कह रहे है कि नकल के लिए भी अकल की जरूरत होती है। कांग्रेस ने 4 से 6 महीने में अलग-अलग अभियान चलाए, लेकिन किसी भी अभियान में कांग्रेस के बड़े नेता जमीन पर नहीं उतरे। यह सिर्फ सुर्खियों में रहने की बैठके हैं।