सीएनएन सेंट्रल न्यूज़ एंड नेटवर्क–आईटीडीसी इंडिया ईप्रेस /आईटीडीसी न्यूज़ भोपाल: 17 सितंबर को लेबनान में एक घंटे तक लगातार हुए धमाकों ने हिजबुल्लाह को भारी नुकसान पहुंचाया। इतिहास में पहली बार पेजर और वॉकी-टॉकी में विस्फोट हुए, जिसमें 37 लोग मारे गए और हजारों घायल हो गए। हिजबुल्लाह के चीफ हसन नसरल्लाह ने इजराइल से इन हमलों का बदला लेने की कसम खाई है।
लेबनान में राष्ट्रपति हसन नसरल्लाह के नेतृत्व वाला हिजबुल्लाह इजराइल के खिलाफ लंबे समय से लड़ाई लड़ रहा है। 2022 में इजराइल द्वारा किए गए हमले के बाद से हिजबुल्लाह की शक्ति और नसरल्लाह की लोकप्रियता बढ़ी है। इजराइल ने हाल ही में 100 फाइटर जेट्स के साथ लेबनान पर हमला किया, जिसके बाद हिजबुल्लाह ने 320 रॉकेट दागे।
इस हमले के पीछे की बड़ी वजह गाजा और लेबनान बॉर्डर पर जारी तनाव है। इजराइल ने लेबनान की तरफ बढ़ते हुए वहां के 60 हजार से अधिक नागरिकों को विस्थापित कर दिया है। इजराइल अब अपने नागरिकों को वापस बॉर्डर के पास लौटाना चाहता है।
हिजबुल्लाह के नेता हसन नसरल्लाह, जो एक गरीब शिया परिवार में जन्मे थे, ने गृह युद्ध के दौरान अमल संगठन से जुड़कर इजराइल के खिलाफ लड़ाई शुरू की थी। 1982 में इजराइल के हमले के बाद हिजबुल्लाह का गठन हुआ और तब से यह संगठन इजराइल के खिलाफ गुरिल्ला युद्ध और आत्मघाती हमले करता रहा है।
नसरल्लाह ने स्पष्ट कर दिया है कि जब तक इजराइल गाजा से पीछे नहीं हटता, वे हमले जारी रखेंगे।