भोपाल । प्रदेश के 16 जिले बारिश को तरस रहे हैं। यहां अब तक सामान्य से बेहद कम बारिश हुई है। ग्वालियर- चंबल क्षेत्र तर हो चुका है। विध्य में भी अच्छी बारिश हुई है, लेकिन इस बार निमाड़ में स्थिति ज्यादा खराब है। जबलपुर, छिंदवाड़ा, कटनी, पन्ना दमोह में भी स्थिति अच्छी नहीं है। अब बंगाल की खाड़ी में बनने जा रहे सिस्टम से प्रदेश में बारिश की उम्मीद जगी है। यह सिस्टम अगले एक से दो दिन में आगे बढ़ेगा।

पूरे मध्यप्रदेश में भारी बारिश के बाद पिछले कुछ दिनों से तेज धूप हो रही है। बारिश का दौर थम चुका है। राजधानी भोपाल में सावन माह की शुरुआत होते ही करीब 25 जुलाई से जमकर पानी बरसा। वहीं अब तेज धूप के साथ उमस से लोग बेहाल है। बीते दिन की बात करें तो शहडोल, जबलपुर, होशंगाबाद, भोपाल, चंबल और इंदौर संभाग के जिलों में कहीं-कहीं बौछारें देखने को मिलीं। अन्य इलाकों में बारिश नहीं हुई।

बारिश के थमने की वजह से प्रदेश का तापमान बढ़ गया है। कई जगह लोग गर्मी और उमस से परेशान हैं। भोपाल में 10 साल में 5वीं बार अगस्त का महीना सबसे ज्यादा गरम रहा। इससे पहले के महीनों की बात करें तो प्रदेश में एक महीने से ज्यादा समय तक लगातार बारिश का दौर जारी रहा। ग्वालियर चंबल अंचल बाढ़ से प्रभावित हुए। वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक अजय शुक्ला ने बताया कि कम दबाव का क्षेत्र उत्तरी आंध्रप्रदेश और दक्षिणी ओडिशा के समुद्री तट पर खाड़ी में बना है। मंगलवार को गतिविधियां बढ़ेंगी। 19 और 20 अगस्त को अच्छी बरसात होने की संभावना है।