भोपाल । राजधानी के हमीदिया और जेपी अस्पताल में बिस्तर बढ़ाए जा रहे हैं। इसके अलावा बिस्तरों के लिहाज से डॉक्टर-नर्स की भर्ती की जानी है। उपकरणों की खरीदी की जा रही है। कोरोना की संभावित तीसरी लहर से निपटने के लिए भोपाल के सरकारी अस्पतालों में बड़ी तैयारी चल रही है। अस्पतालों में बिस्तर बढ़ाने का काम सितंबर तक ही पूरा हो पाएगा। इन कार्यों को पूरा करने की समय सीमा ही 30 सितंबर तय की गई है। उधर, इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आइसीएमआर) ने अगस्त में तीसरी लहर आने की संभवना जताई है। ऐसे में बचाव की तैयारियों को लेकर कहीं देरी न हो जाए। हमीदिया अस्पताल में अभी कोरोना मरीजों के लिए 680 बिस्तर हैं। यह बिस्तर तीन अलग-अलग ब्लाक में हैं। अब एक ही ब्लाक में कोरोना मरीजों को भर्ती करने के लिए 1010 बिस्तर तैयार किए जा रहे हैं। इसमें साधारण बेड, ऑक्सीजन बेड और आइसीयू बेड शामिल हैं। तीसरी लहर में बच्चों के ज्यादा प्रभावित होने की आशंका जताई जा रही है। लिहाजा 80 बिस्तर का आइसीयू बनाया जा रहा है। इसमें 20 वेंटिलेटर बेड होंगे। अत्याधुनिक बेड होंगे, जिनमें नर्स को बुलाने के लिए घंटी लगी होगी। अभी आइसीयू का सिविल कार्य चल रहा है, जो 10 अगस्त तक पूरा होने की उम्मीद है। बेड और उपकरणों की खरीदी अभी नहीं हुई है। स्टाफ की भर्ती भी सितंबर के पहले पूरी नहीं हो पाएगी। हाल ही में तैयार काटजू अस्पताल में कोरोना मरीजों के लिए 200 बिस्तर तैयार किए गए हैं। इनमें 50 बिस्तर का आइसीयू है। मरीजों को भर्ती करने की सुविधा भी शुरू कर दी गई है। एक एनजीओ अस्पताल का संचालन कर रहा है। पूरा स्टाफ एनजीओ का है।जेपी अस्पताल में बच्चों के लिए 20 बिस्तर का आइसीयू तैयार किया जा रहा है। अभी फाल्स सीलिंग लगाने का काम हो रहा है। बच्चों के लिए अस्पताल में पांच वेंटिलेटर हैं। संचालनालय से इतने ही और मांगे गए हैं।