सीएनएन सेंट्रल न्यूज़ एंड नेटवर्क–आईटीडीसी इंडिया ईप्रेस /आईटीडीसी न्यूज़ भोपाल: मध्यप्रदेश में जन्माष्टमी का पर्व भक्तिभाव के साथ मनाया जा रहा है। उज्जैन, भोपाल और ग्वालियर के श्रीकृष्ण मंदिरों में विशेष पूजा-आराधना हो रही है। बाबा महाकाल के दरबार को 700 किलो फूलों से सजाया गया है। गर्भगृह में फूलों का सिंहासन, दीवारों पर फूलों की लड़ियाें के साथ ही फूलों से बना छत्र और मोर पंख से सजावट की गई है। यहां श्रद्धालुओं को भगवान विष्णु और शिव के दर्शन एक साथ होंगे।
ग्वालियर में जन्माष्टमी पर राधा-कृष्ण को 100 करोड़ से ज्यादा की एंटीक ज्वेलरी पहनाई गई है। इन आभूषणों में बेशकीमती रत्न हीरा, पन्ना, माणिक, मोती, पुखराज और नीलम जड़े हैं।
उज्जैन में गोपाल मंदिर के प्रशासक अजय धनके ने बताया कि सोमवार शाम 6 बजे बाबा की सवारी गोपाल मंदिर पहुंचेगी, जहां हरिहर मिलन होगा। रात 10 बजे मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव गोपाल मंदिर में भगवान का दर्शन करेंगे। 12 बजे तक भगवान के दर्शन-पूजन, अभिषेक और आरती की जाएगी। 2 बजे तक मंदिर के पट खुले रहेंगे।
सांदीपनि आश्रम के प्रमुख पुजारी पंडित रूपम व्यास ने बताया- सुबह 7 बजे से रात्रि 11 बजे तक श्रद्धालु लाइन में लगकर दर्शन कर सकेंगे। आश्रम में भगवान कृष्ण की लीलाओं पर केंद्रित सांस्कृतिक कार्यक्रम भी होंगे।
प्रदेशभर में धार्मिक-सांस्कृतिक कार्यक्रम होंगे
मध्यप्रदेश में पहली बार श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर 26 अगस्त को स्कूल खुले हैं। स्कूल शिक्षा विभाग ने कहा है कि जन्माष्टमी के दिन स्कूलों में भगवान श्रीकृष्ण की शिक्षा और मित्रता के प्रसंगों पर आधारित कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इससे पहले सरकार ने जन्माष्टमी के दिन अवकाश घोषित किया था।